दवाईयाँ : जीने के लिए जरूरी

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दवाईयाँ : जीने के लिए जरूरी
14 Oct 2021
7 min read

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दवाईयों का बिज़नेस आज के समय में बहुत ही फायदेमंद है। क्योंकि आज हर कोई किसी न किसी बीमारी के कारण दवाईयों का सेवन ज़रूर करता है, इसलिए जब तक धरती पर इंसान रहेगा मेडिसिन (दवाईयों) की माँग हमेशा रहेगी। बिना दवाई के कोई भी स्वस्थ नहीं रह सकता है, इसलिए अगर आपके पास कुछ पूँजी है तो आप इस बिज़नेस में निवेश करके अच्छा मुनाफा कमा सकते हो।

आजकल इस भाड़दौड़ वाली जिंदगी में जो हमारा सबसे ज्यादा साथ देती हैं वो हैं दवाईयाँ, इसलिए ये कहना गलत नहीं होगा कि दवाईयाँ इंसान को जीने के लिए जरूरी हो गयी हैं। बिना दवाईयों के कोई आजकल जीने की कल्पना भी नहीं कर सकता है इसलिए दवाईयों से जुड़ा एक बिजनेस जिसको हम साधारण भाषा में मेडिकल स्टोर के नाम से जानते हैं आपके लिए एक बहुत अच्छा विकल्प हो सकता है। इस बिज़नेस को शुरू करने का फायदा यह है कि ये एक लम्बा चलने वाला व्यवसाय है। जिसकी डिमांड कभी भी कम नहीं होगी चाहें आज हो या फिर भविष्य में और इस बिज़नेस को गाँव हो या शहर किसी भी जगह खोल सकते हैं। क्योंकि बीमारियाँ इतनी अधिक हो गयी हैं कि शायद ही कोई इंसान ऐसा हो जो बिना दवाईयों के जी रहा हो। आजकल अधिकतम लोग दवाईयों पर निर्भर हैं इसलिए आज के इस समय में आप मेडिकल स्टोर का बिज़नेस खोलकर अच्छा मुनाफ़ा कमा सकते हैं। 

क्या है मेडिकल स्टोर और इसे कैसे खोलें? 

मेडिकल स्टोर मतलब दवाईयों की दुकान जहाँ से आप और हम बीमार होने पर डॉक्टर के द्वारा दी हुई पर्ची (prescription) को ले जाकर दवाईयाँ लेते हैं। आप दो तरीके से मेडिकल स्टोर खोल सकते हैं। पहला है, रिटेल मेडिकल स्टोर और दूसरा है, व्होलसेल मेडिकल स्टोर। अगर आप रिटेल बिज़नेस शुरू करते हैं तो इसमें आपको फार्मासिस्ट का रजिस्ट्रेशन नंबर तथा ड्रग लाइसेंस की आवश्यकता होती है। इसके लिए किसी फार्मासिस्ट से बातकर उन्हें नियुक्त भी कर सकते हैं और फिर रजिस्ट्रेशन नंबर मिलने के बाद ड्रग लाइसेंस भी ले सकते हैं। मतलब फार्मेसी बिज़नेस या मेडिकल स्टोर चलाने के लिए बी फार्मा, डी फार्मा या फिर एम फार्मा जरूरी होता है। 

ड्रग लाइसेंस 

मेडिकल स्टोर खोलने के लिए ड्रग लाइसेंस दो तरह के होते हैं। 

1- रिटेल ड्रग लाइसेंस 

2 - व्होलसेल ड्रग लाइसेंस

अगर आपने रिटेल मेडिकल शॉप के लिए अप्लाई किया है, तो रिटेल ड्रग लाइसेंस लेना पड़ेगा। ये ड्रग लाइसेंस तभी मिलता है जब आपके पास फार्मेसी की कोई भी डिग्री हो। दूसरा होलसेलर, ये उनके लिए है जो थोक मेडिसिन विक्रेता हैं। ड्रग लाइसेंस के लिए आपके पास कुछ कागज (डॉक्यूमेंट) होने जरूरी हैं। जैसे -फार्मासिस्ट रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट, आधार कार्ड, फोटो, पैन कार्ड, रूम एग्रीमेंट आदि। 

मेडिकल स्टोर के लिए जगह

सबसे ज़रूरी है मेडिकल स्टोर खोलने के लिए जगह का चुनाव करना। क्योंकि इस बिज़नेस को चलाने के लिए जगह की बहुत बड़ी भूमिका होती है। मेडिकल स्टोर हमेशा ऐसी जगह खोलें जहाँ भीड़ ज्यादा होती है। मतलब जहाँ लोग ज्यादा होते हैं। अगर आप इस बिज़नेस को गांव में खोलते हो तो वहाँ पर लागत कम लगेगी पर अगर आप शहर में खोलते हो तो आपको ज्यादा खर्च करना पड़ सकता है। इसके लिए ढांचा (इंफ्रास्ट्रक्चर) सही होना चाहिए, जैसे रैक, बॉक्स, कंप्यूटर आदि सभी चीज़ें व्यवस्थित होनी चाहिए और एक रेफ्रिजरेटर भी अवश्य होना चाहिए जिसमें मेडिसिन, इंजेक्शन आदि रख सकें। क्योंकि कई दवाईयाँ कम तापमान में रखी जाती हैं। 

दवाईयाँ कहाँ से लें और लागत कितनी 

आप मेडिसिन (दवाईयाँ) होलसेलर से भी ले सकते हैं या फिर सीधे मैन्युफैक्चरिंग (जहाँ दवाईयाँ बनती हैं) कंपनी से भी ले सकते हैं। अगर आप छोटी जगह जैसे गांव आदि जगह में दुकान खोलते हो तो आपको 2 से 4 लाख रूपये तक और शहर में खोलते हो तो 4 से 6 लाख तक खर्च करने पड़ सकते हैं। आप इस बिज़नेस में शुरू में 30 से 50 हजार तक हर महीने कमाई कर सकते हैं। ये आपके काम करने के तरीके और आपकी मेहनत पर निर्भर करता है कि आप इस बिज़नेस को कितनी आगे ले जा सकते हैं।