क्या है पूँजीवाद

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क्या है पूँजीवाद
09 Dec 2021
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कैपिटलिस्ट एक ऐसा विषय है जिसके बारे में हम जितना गहराई में जायेंगे हमें उसका अंत नहीं मिलेगा, लेकिन इसकी समझ स्थापित करने के लिए हम लेख में दिए गए पहलूओं के बारे में पढ़ सकते हैं।

Capitalism शब्द आता है कैपिटल से जिसका अर्थ है पैसा या किसी भी तरह का धन चाहे वह ज़मीन हो या फिर घर । capitalism की साधारण परिभाषा यह है कि यह एक ऐसी society है जहां लोग अपनी क्षमता के अनुसार काम करेंगे लेकिन उन्हें वस्तुएं मिलेंगी उनके capital के हिसाब से। यानी जिसके पास जितना ज्यादा पैसा रहेगा उतना उसका फायदा होगा। मूलतः यह एक ऐसी विचारधारा है जो privatization को promote करती है। जहां पर means of production ( जैसे कि जमीन,खेत, फैक्ट्री और इंडस्ट्री) own किया जाता है प्राइवेट individual के द्वारा।

Capitalism एक ऐसा विषय है जिसके बारे में हम जितना गहराई में जायेंगे ये उतना ही विस्तृत होता जायेगा, लेकिन इसकी समझ स्थापित करने के लिए आप इन दिए गए पहलूओं के बारे में पढ़ सकते हैं।

1 -Privatization

2 -No interference of government

3 -Free market 

4 -Competition

5 -Money begets money

capitalism का इतिहास

पहले एक जमीन पर काम करने वाले, दिन रात मेहतन कर के फसल उगाते थे लेकिन जब फसल तैयार हो जाती थी  तब उसका फायदा केवल जमींदार को मिलता था। किसानों को केवल अपने मूल चीजों यानी रोटी, कपड़ा और मकान के लिए बस पैसे दिए थे जिसे Fedualism कहते थे। आज का capitalism भी इसी तरह है आज प्राइवेट कंपनियों में काम करने वाले लोगों को महीने के अंत मे तय salary प्रदान की जाती है जबकि उन्ही के परिश्रम द्वारा मिला कंपनी का प्रॉफिट कंपनी के मालिक को मिलता है। आज की और पहले की परिस्थितियों में यह अंतर है कि आज workers के भी rights निर्धारित किए हुए हैं। उनके साथ कोई दुर्व्यहार नहीं किया जाता है।

मान लीजिये की आप एप्पल कंपनी के लिए काम कर रहे हैं। कंपनी का मालिक होगा जिसका शेयर सबसे ज्यादा है। आज के दिन शेयर मार्केट से एप्पल के शेयर खरीद कर कोई भी कंपनी का मालिक बन सकता है। जो भी कंपनी प्रॉफिट कमाएंगी उसका कुछ हिस्सा आपको भी मिलेगा क्योंकि आप उसके कुछ शेयर के हिस्सेदार होंगे।

आज हम इस तरह की capitalist दुनिया में रह रहे हैं जहाँ एक employee एक कंपनी के लिए काम करेगा जिसके लिए उसे monthly salary मिलेगी। लेकिन कंपनी के profit से employee को कुछ भी नहीं मिलेगा उसका फायदा सीधे कंपनी के मालिक को मिलेगा। यानी आप केवल घर बैठे कंपनी में invest करने भर से कंपनी के प्रॉफिट में अपनी हिस्सेदारी कर सकते हैं बिना कंपनी के day to day वर्क के बारे में जाने बिना। इन्वेस्ट हम पैसे से कर सकते हैं यानी पैसे से पैसे बनाना जिसे अंग्रेजी में Money begets money कहते हैं।

इस दुनिया में अमीर और अमीर होता जाएगा क्योंकि जिसके पास जितना पैसा होगा वह उतना invest कर के पैसा बनाएगा। इस आधुनिक Capitalism की शुरुआत 16 और 17 शताब्दी में  Britain और Netherlands में हुई थी। दुनिया का पहला stock exchange था Amsterdam Stock Exchange जहां पर 1602 में पहली कंपनी Dutch East India Company चुनी गई थी।

जिस तरह Communism के लिए जाने जाते है karl marx's वहीं capitalist के लिए जाने जाते हैं Adam smith, जो की हैं "father of capitalism".1776 में इन्होंने  एक किताब लिखी थी जिसका नाम था "The wealth of Nations".इस किताब में उन्होंने एक policy के बारे में बताया जो कि फ्रेंच भाषा में लिखित नाम है laissez-Faire। जिसका वास्तविक मतलब है leave alone यानी सरकार को अर्थिक मामले से दूर रहना चाहिए या किसी भी प्रकार का हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए।

यहीं से free market की शरुआत हुई, चलिए उदाहरण की मदद से जानते हैं कि आखिर क्या है free market।

मान लीजिये आपने एक pizza की दुकान खोली है। आपके दुकान के बगल ही एक अन्य दुकान है जो pizza की ही है। अब अगर कोई तीसरी दुकान न खुले तो आपके बीच एक बड़ा ही fair competition बना रहेगा कि कौन कितना अच्छा पिज़्ज़ा बनाएगा। कौन customers को कम दाम में अच्छी quality का पिज़्ज़ा प्रदान कर पायेगा। फिर आप दोनों ही अपने product में ऑफर और बदलाव करते रहेंगें। आप नई-नई नीतियों को innovate करने की कोशिश करेंगे  जिससे customer pizza खाने के लिए आपकी दुकान चुने। Adam smith के मुताबिक यही है free market का invisible hand है। यानी कोई आपसे ज़बरन अच्छा product बेचने के लिए नहीं कह रहा बल्कि आप स्वयं ही market की situation देख कर ऐसा कर रहे हैं।

आप बस अपने सेल्फ interest में काम कर रहे हैं जो society के लिए भी अच्छा है, कि आप आपके interest में ही society का interest होना चाहिए, यही कहती है Adam smith की policy।

अब आप अपने pizza की बिक्री को बढ़ाने के लिए सोचेंगे कि खुद से सारा काम करना ठीक नहीं है। इसके लिए आपको लोगों की जरूरत है। पिज़्ज़ा बनानें से लेकर customer को डील करने वाले और घर-घर तक पहुँचाने वाले लोग चाहिए होंगे। इसी को कहते हैं division of labour, हर इंसान अपने काम में specialized है और जिसके लिए उसे fixed salary दी जाती है। इस system के कारण productivity और efficiency को बढ़ावा मिलता है।

यही एक बहुत बड़ा कारण है कि दुनिया भर में capitalism इतना successful हुआ। क्योंकि हर किसी ने महसूस किया कि अगर हमें काम और बेहतर करना है और स्पीड से करना है तो हमें कामों का बंटवारा यानी division of labour करना पड़ेगा। उदारहण के तौर पर अगर apple फ़ोन बनाने के लिए एक इंसान बैठ जाए तो सालों लग जाएंगे इसलिए कंपनी ने assembly बनाई  जिसमे विभिन्न expert फोन के विभिन्न पार्ट बनाते हैं।इन्ही सारे ideas को implement कर के industrial revolution की शुरुआत हुई जहां बड़ी-बड़ी factories स्थापित की गयी जिसके कारण workers का exploitation होने लगा था ।

Karl marx, Adam smith के बहुत से विचारों  से सहमति रखते हैं लेकिन असहमति ज्यादा रखते हैं। उनका विचार है कि इस system के मुताबिक कर्मचारी घन्टो-घन्टो तक एक ही काम साल भर करते रहे तो उसे खुद पर proud नहीं होगा। उससे कर्मचारी को लगेगा कि उसका क्या purpose है जिंदगी में वह खुद को बड़ी machinery में मात्र छोटा सा gear समझेगा। इस तरह capitalist workers को exploit करेंगे। Karl marx, adam smith के बाद के जमाने से है। उन्होंने workers के साथ होते दुर्व्यवहार को अपनी आंखों से देखा है। यदि वह एक ही जमाने के होते तो शायद उनके विचार इतने अलग नहीं होते।

जहां तक capitalism के implementation का सवाल है तो जिस तरह communism का implementation, Russia में देखा गया है उसी तरह capitalism की शुरुआत अमेरिका में हुई। 1902 में एक बड़ी समस्या हुई जब तीन बड़ी स्टील companies CARNEGIE STEEL, NATIONAL और Federal company एक कंपनी में merge कर गयी और बन गयी US Steel company जो दुनिया की पहली billion dollar corporation है। Elbert H Gary इस कंपनी के मालिक थे, दुनिया भर में जितने स्टील बनते हैं उसका ⅔ स्टील यह कम्पनी निर्माण करती थी। एक दिन Elbert ने दुनिया के सभी स्टील competitive कंपनियों को खाने पर बुलाया और उन्हें कहा कि हम क्यों competition कर रहे हैं चलिए हम एक कंपनी की तरह एक साथ काम करें। और फिर इस तरह बनी दुनिया की billion dollar कंपनी की monopoly।  और Adam smith के उस विचार जो कि था competition और free मार्केट, का हनन होने लगा। क्योंकि अब consumer एक ही कंपनी पर निर्भर होने लगा था।

 ऐसा system जहाँ काम को नहीं बल्कि पैसे को महत्व दिया जाता है।1929 को स्टॉक मार्केट में बहुत बड़ा नुकसान हुआ जिसके चलते गरिबी और बेरोजगारी होने लगी थी। उसके बाद आये John Keynes ने कहा कि government को हस्तक्षेप करना चाहिए। इस विचार को दुनिया भर में स्वीकार किया गया । लेकिन capitalism को अगला बड़ा झटका लगा जब USA के Ronald Reagan और UK के Marget Thatcher ने Adam smith के फ्री market के concept को फिर से उजागर किया। जिसके बाद अमेरिका में Neoliberalism Capitalism बना जो पिछले 40 साल तक जिसे देखा गया है।