आटा-चावल पर जीएसटी को लेकर केंद्र सरकार ने कही ये बड़ी बात

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आटा-चावल पर जीएसटी को लेकर केंद्र सरकार ने कही ये बड़ी बात
25 Jul 2022
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News Synopsis

पैकेटबंद सामान एवं खाद्य उत्पादों Packaged Goods and Food Products पर माल एवं सेवा कर Goods and Services Tax (GST) लगाने पर सरकार ने अपना पक्ष रखा है। राजस्व सचिव तरुण बजाज Revenue Secretary Tarun Bajaj ने पैकेटबंद सामान एवं खाद्य उत्पादों पर माल एवं सेवा कर (GST) लगाने के फैसले का बचाव करते हुए कहा कि इन उत्पादों पर कर की चोरी हो रही थी, जिसे रोकने के लिए यह कदम उठाया गया है। कुछ राज्यों ने भी इसकी मांग की थी।

प्रीपैकेज्ड अनाज Prepackaged Cereals, दाल, आटा Atta, छाछ और दही पनीर Buttermilk and Dahi Paneer पर हाल में पांच फीसदी जीएसटी लगाने का फैसला किया गया था। पहले ये चीजें जीएसटी के दायरे से बाहर आती थीं। जीएसटी काउंसिल GST Council की हाल में चंडीगढ़ Chandigarh में हुई बैठक में कई चीजों पर जीएसटी लगाने का फैसला किया गया था। ये दरें 18 जुलाई से लागू हो गई हैं। विपक्ष इस बढ़ोतरी की वापस लेने की मांग कर रहा है।

इस पर राजस्व सचिव ने कहा कि जीएसटी से जुड़े मामलों में फैसले के लिए जीएसटी काउंसिल सर्वोच्च निकाय  the apex body है और इस समिति ने पैकेट वाले उत्पादों पर कर लगाने का फैसला आम सहमति से लिया था। जीएसटी समिति में राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों States and Union Territories, के प्रतिनिधि भी शामिल होते हैं। जबकि, दालों Pulses, गेहूं Wheat, राई Rye,, जौ Barley, मक्का Maize, चावल Rice, आटा, सूजी, बेसन, मुरमुरे और दही एवं लस्सी को खुले में बेचने और पैक या लेबल नहीं किए जाने पर कोई जीएसटी नहीं लगेगा।

बजाज ने कहा, ‘जीएसटी लागू होने से पहले इन आवश्यक वस्तुओं पर कर कई राज्यों में लगा हुआ था। इनसे राज्यों को राजस्व revenue to the State मिल रहा था। जुलाई, 2017 में जीएसटी प्रणाली आने के समय यह परिपाटी जारी रहने की परिकल्पना की गई थी। लेकिन जब नियम और परिपत्र Rules and Circulars सामने आए तो यह कर ब्रांडेड उत्पादों पर लगाया गया था।’