Delhi-NCR के GenAI आधारित इंग्लिश-लर्निंग प्लेटफॉर्म SpeakX.ai ने कर्मचारियों को जोड़कर रखने और उन्हें शुरुआती स्तर पर ही बेहतर आर्थिक फायदा देने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है, कंपनी ने 15 कर्मचारियों के लिए 1 मिलियन डॉलर का ESOP बायबैक पूरा किया है, जो भारतीय स्टार्टअप इकोसिस्टम में बेहद कम देखा जाता है, इस कदम का सीधा संदेश है, कि कंपनी अपने टीम मेंबर्स को सिर्फ कर्मचारी नहीं, बल्कि ओनर मानती है।
स्टार्टअप की नई ESOP पॉलिसी परफॉर्मेंस, टेन्योर, बायबैक प्लान और ओनरशिप फ्रेमवर्क को ध्यान में रखकर बनाई गई है, कंपनी चाहती है, कि शुरुआती स्तर पर जुड़ने वाले सभी कर्मचारी लंबी अवधि तक कंपनी के विकास में हिस्सा लें और समय के साथ इक्विटी के जरिए धन बना सकें।
SpeakX.ai ने नया ओनरशिप मॉडल बनाते समय 3 बातों को प्राथमिकता दी है:
> परफॉर्मेंस आधारित ESOP
> टेन्योर आधारित इक्विटी
> शुरुआती बायबैक और पारदर्शी ओनरशिप
कंपनी के मुताबिक ESOP सिर्फ सीनियर लेवल तक सीमित नहीं रहेंगे, बल्कि सभी टीमों के कर्मचारियों को मिलेंगे, यह मॉडल भारत में शुरुआती स्टेज स्टार्टअप्स के लिए एक नया स्टैंडर्ड बन रहा है।
SpeakX.ai ने 15 कर्मचारियों के लिए 1 मिलियन डॉलर का बायबैक ऑफर किया, यह शुरुआती स्तर पर लिक्विडिटी देने के लिहाज से बेहद दुर्लभ है, इस बायबैक की खास बातें-
> टैलेंट को जल्दी रिवार्ड
> कर्मचारियों को शुरुआती आर्थिक फायदा
> ESOP को वास्तविक धन में बदलने का मौका
> लॉन्ग-टर्म कमिटमेंट बढ़ाना
ऐसे लिक्विडिटी इवेंट आमतौर पर लेट-स्टेज फंडिंग, प्री-IPO या अधिग्रहण के समय देखे जाते हैं।
SpeakX में आज कुल 20 कर्मचारी हैं, और वह सभी मिलकर कंपनी के 6% शेयर होल्ड करते हैं, शुरुआती स्तर पर इतनी पारदर्शी और इनक्लूसिव ओनरशिप भारतीय स्टार्टअप दुनिया में दुर्लभ है, यह मॉडल कर्मचारियों को कंपनी के विकास और सफलता के साथ सीधा जोड़ता है।
SpeakX ने अपने ESOP की वैलिडिटी 10 साल तक रखी है, इसका मतलब है, कि कर्मचारी लंबे समय तक ओनरशिप बनाए रख सकते हैं, और सही समय पर फायदा उठा सकते हैं, इसके फायदे:
> लॉन्ग-टर्म वैल्थ क्रिएशन
> बायबैक का पर्याप्त समय
> फंडिंग राउंड्स के साथ इक्विटी बढ़ने की संभावना
कंपनी के फाउंडर Arpit Mittal का कहना है, कि ESOP सिर्फ परफॉर्मेंस पर आधारित नहीं होते, फोकस किया जाता है:
> एटीट्यूड
> टीमवर्क
> लॉन्ग-टर्म कमिटमेंट
> कंपनी कल्चर में योगदान
यह दृष्टिकोण पारंपरिक ESOP अलॉटमेंट से बिल्कुल अलग है।
SpeakX.ai की खासियत है, इसका GenAI आधारित इंग्लिश-लर्निंग प्लेटफॉर्म, यह रियल बातचीत जैसा अनुभव देता है, प्लेटफॉर्म की खास बातें:
> AI Tutor
> रियल-टाइम स्पीच करेक्शन
> इंटरव्यू सिमुलेशन
> वर्नाकुलर-टू-इंग्लिश सपोर्ट
> प्रैक्टिकल वोकैबुलरी
लर्नर्स हर सेशन में औसतन 15 मिनट बिताते हैं।
कंपनी ने हाल ही में 16 मिलियन डॉलर का Pre-Series B राउंड उठाया है, इस राउंड ने कंपनी की वैल्यूएशन और प्रोडक्ट डेवलपमेंट को मजबूत किया है।
2026 तक 100 करोड़ EBITDA का लक्ष्य
> 2026 तक 100 करोड़ वार्षिक EBITDA
> 2–3 साल में 300–400 मिलियन डॉलर का बिजनेस
> नए कैटेगरी और AI क्षमता को और मजबूत करना
SpeakX.ai ने ESOP बायबैक और ओनरशिप मॉडल के जरिए दिखा दिया है, कि स्टार्टअप सिर्फ प्रोडक्ट और फंडिंग से नहीं, बल्कि अपनी टीम से बनता है, 1 मिलियन डॉलर का शुरुआती बायबैक, पारदर्शी ओनरशिप और GenAI आधारित तेजी से बढ़ता बिजनेस SpeakX को भारत के टैलेंट मार्केट में गेम-चेंजर बना रहा है, आने वाले समय में यह मॉडल और कई स्टार्टअप्स को प्रभावित करेगा।