इंडियन टेलीकॉम मेजर रिलायंस जियो, सब्सक्राइबर बेस के हिसाब से दुनिया की सबसे बड़ी फिक्स्ड वायरलेस एक्सेस प्रोवाइडर बनने की राह पर है, जो अमेरिकी टेलीकॉम दिग्गज T-Mobile को पीछे छोड़ देगी।
टेलीकॉम रेगुलेटर ट्राई द्वारा हाल ही में जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार रिलायंस जियो का कुल 5G FWA सब्सक्राइबर बेस (बिना लाइसेंस वाले बैंड रेडियो सहित) मई में 6.88 मिलियन तक पहुंच गया, जबकि मार्च में टी-मोबाइल के पास 6.85 मिलियन सब्सक्राइबर थे।
Reliance Jio ने लगभग 1 मिलियन फिक्स्ड वायरलेस एक्सेस (FWA) बिना लाइसेंस वाले बैंड रेडियो (UBR) सब्सक्राइबर को FTTx कैटेगरी में पुनर्वर्गीकृत किया, जिसके बाद मई में इसका नेट FWA सब्सक्राइबर बेस 5.9 मिलियन हो गया, जिसमें हर महीने 0.74 मिलियन कस्टमर्स जुड़ते रहे।
ट्राई के आंकड़ों पर आधारित एनालिस्ट संजेश जैन, मोहित मिश्रा और अपराजिता चक्रवर्ती द्वारा आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज की रिपोर्ट में कहा गया है, कि इंडस्ट्री एफडब्ल्यूए (यूबीआर को छोड़कर) 7.4 मिलियन था, जबकि यूबीआर रीक्लैसफकैशन के बाद आरजियो के एफडब्ल्यूए सब्सक्राइबर 5.9 मिलियन थे।
रिपोर्ट में कहा गया है, कि मई में नेट एडिशन 0.74 मिलियन सब्सक्राइबर थे।
"आरजियो का एफडब्ल्यूए (यूबीआर सहित) 6.88 मिलियन था। इसकी तुलना में टी-मोबाइल (अमेरिकी प्लेयर, और ग्लोबल स्तर पर सबसे बड़ा एफडब्ल्यूए सब्सक्राइबर बेस) एफडब्ल्यूए सब्सक्राइबर बेस मार्च 2025 में 6.85 मिलियन था। हमारा मानना है, कि आरजियो जून 2025 के अंत तक ग्लोबल स्तर पर एफडब्ल्यूए के लिए सब्सक्राइबर के मामले में प्रमुख प्लेयर बनने की राह पर है," रिपोर्ट में कहा गया है।
कुल मिलाकर रिलायंस जियो ने ब्रॉडबैंड सेगमेंट में 50.72 प्रतिशत शेयर के साथ भारत के मार्केट पर अपना दबदबा बनाया, जिसमें वायर्ड और वायरलेस दोनों सेगमेंट शामिल हैं।
ट्राई के अनुसार मई में रिलायंस जियो का कुल फिक्स्ड वायर्ड ब्रॉडबैंड सब्सक्राइबर बेस 13.51 मिलियन और वायरलेस ब्रॉडबैंड सब्सक्राइबर बेस 480.96 मिलियन था।
ब्रॉडबैंड सेगमेंट में 30.99 प्रतिशत शेयर के साथ रिलायंस जियो के बाद भारती एयरटेल का स्थान है।
रिलायंस जियो और भारती एयरटेल दोनों ही इस समय इंडियन टेलीकॉम सर्विस मार्केट पर हावी हैं।
मई में इंडियन टेलीकॉम सब्सक्राइबर बेस मामूली रूप से बढ़कर 1,207 मिलियन हो गया, जिसमें रिलायंस जियो और भारती एयरटेल ने महीने के दौरान 99 प्रतिशत से अधिक नए कस्टमर्स जोड़े।
टेलीकॉम सर्विस प्रोवाइडर्स द्वारा टोटल नेट सब्सक्राइबर एडिशन 43,58,231 थी, जबकि रिलायंस जियो और भारती एयरटेल ने जॉइंट रूप से 43,51,294 जोड़े - जो मई में टोटल नेट सब्सक्राइबर एडिशन का 99.84 प्रतिशत है।
2030 तक ग्लोबल फ़िक्स्ड ब्रॉडबैंड मार्केट 1.6 बिलियन से बढ़कर 2 बिलियन कनेक्शन हो जाने की उम्मीद है, जो फ़ाइबर, फ़िक्स्ड वायरलेस एक्सेस (FWA) और सैटेलाइट में 550 मिलियन नए कनेक्शनों से प्रेरित है। इस ग्रोथ का एक महत्वपूर्ण हिस्सा लिगेसी इंफ्रास्ट्रक्चर के मॉडर्नाइजेशन से आएगा, जिसमें लगभग 150 मिलियन DSL और केबल कनेक्शन में कमी आने की उम्मीद है, क्योंकि कंस्यूमर्स फ़ास्ट टेक्नोलॉजीज की ओर बढ़ रहे हैं।
FWA को एक प्रमुख भूमिका निभाने का अनुमान है, जो नए कनेक्शनों का 35 प्रतिशत से अधिक हिस्सा है। हाल ही में एरिक्सन मोबिलिटी रिपोर्ट ने कहा कि FWA सब्सक्रिप्शन दोगुनी से अधिक होने का अनुमान है, जो 2030 तक 350 मिलियन तक पहुँच जाएँगी।
Q1 2025 में प्रमुख अमेरिकी ब्रॉडबैंड प्रोवाइडर्स AT&T, Verizon, T-Mobile, Comcast, Charter, और Altice ने अपनी 11वीं सीधी तिमाही की रिपोर्ट की, जहाँ फ़िक्स्ड वायरलेस एक्सेस (FWA) ने लगभग सभी ब्रॉडबैंड नेट एडिशन को आगे बढ़ाया। अकेले AT&T, Verizon और T-Mobile ने 913,000 नए FWA कनेक्शन जोड़े, जिससे अमेरिका में 5G FWA कनेक्शनों की कुल संख्या 12.5 मिलियन हो गई, जो United States के ब्रॉडबैंड मार्केट में FWA के बढ़ते महत्व को रेखांकित करता है।