पृथ्वी पर आने वाले समय में जीवन की संभावना बनाये रखनी है, तो पर्यावरण की सुरक्षा हमें करनी ही होगी। इसलिए संयुक्त राष्ट्र की मानवाधिकार परिषद ने पर्यावरण सुधार के लिए चल रहे वैश्विक प्रयासों को बल देने के लिए स्वच्छ और स्वस्थ पर्यावरण को मूलभूत अधिकारों में शामिल कर लिया है। परिषद् के इस संकल्प को उत्साहजनक समर्थन मिला। मात्र दो देशों ने इस मूल अधिकार का विरोध किया, जिसमें अमेरिका और ब्रिटेन प्रमुख हैं। इस संकल्प को मूल अधिकार बनाने के लिए 1990 में ही चर्चा हुई थी, जिसे अब बहुमत से पारित कर दिया गया है वैसे तो यह कानूनी तौर पर बाधित नहीं है। लेकिन पर्यावरण संरक्षण के लिए वैश्विक मानक तय करने में कारगर साबित हो सकती है। हमने पर्यावरण से बहुत कुछ लिया है और अब बारी है उसे लौटाने की, उसके लिए हमें ज्यादा से ज्यादा पौधों को लगाना होगा और लोगों को इसके बारे में जागरूक करना होगा। जिससे हम इस नुकसान की भरपाई कर सकते हैं और अपने पर्यावरण को फिर से पहले जैसा खूबसूरत और सुंदर बना सकते हैं।