भारत में पहले यह व्यवस्था थी कि जितने भी केंद्रीय अधिकारी होते थे, वे एयर इंडिया से यात्रा पर किसी भी प्रकार का भुगतान कंपनी को नहीं करते थे। यानि उन्हें प्रत्येक सुविधा मुफ्त में मिलती थी, जिसका खर्च भारत सरकार वहन करती थी। इस नियम को अब पूर्ण रूप से ख़त्म कर दिया गया है। अब कोई भी केंद्रीय अधिकारी अगर एयर इंडिया से हवाई यात्रा के बारे में सोचता है तो, उसे भी आम नागरिक की तरह टिकट के पैसे देने होंगे और बाकी सुविधाओं में भी उसे अपनी जेब ढीली करनी पड़ेगी। यह फैसला केंद्रीय वित्त मंत्रालय का है। अधिकारी कोई भी हो वह कड़ी मेहनत से और कई कठिन परीक्षाओं को पास करके इस स्थान पर पहुंचता है। इसलिए वह इन सुविधाओं का पूरी तरह से हक़दार है।